केंद्र सरकार में देश के सबसे बड़े अल्पसंख्यक समुदाय का कोई प्रतिनिधि नहीं है। एक साल पहले तक मुख्तार अब्बास नकवी और उससे कुछ समय पहले तक एमजे अकबर केंद्र सरकार में मंत्री होते थे। लेकिन जैसे जैसे 2024 का चुनाव नजदीक आता गया वैसे वैसे मुस्लिम नेताओं की छुट्टी होती गई। अब स्थिति यह है कि केंद्र सरकार में कोई मुस्लिम मंत्री नहीं है। इतना ही नहीं संसद के दोनों सदनों में भी भाजपा का एक भी मुस्लिम सांसद नहीं है। सोचें, दोनों सदनों को मिला कर भाजपा के कुल सांसदों की संख्या 393 है लेकिन उनमें एक भी मुस्लिम नहीं है। पिछले चुनाव में भाजपा ने किसी मुस्लिम उम्मीदवार को टिकट भी नहीं दिया था।
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